मंडे मेगा स्टोरी- iPhone नहीं बनाना चाहते थे स्टीव:सीक्रेट लैब में शुरुआत हुई, गायब होने लगे थे इंजीनियर्स; आज iPhone-16 की लॉन्चिंग

7 नवंबर 2004 की रात। एपल कंपनी के को-फाउंडर स्टीव जॉब्स को एक ईमेल आता है- ‘स्टीव, मैं जानता हूं कि तुम स्मार्टफोन से जुड़े प्रोजेक्ट पर काम नहीं करना चाहते, लेकिन हमारे पास इसे करने की कुछ ठोस वजह है…।’ यह ईमेल एपल के वाइस प्रेसिडेंट माइक बैल ने भेजा था। इसे पढ़ते ही स्टीव ने माइक को कॉल किया। दोनों के बीच कुछ घंटे लंबी बहस हुई। ये दौर नोकिया 7610 और ब्लैकबेरी 7100t का था। म्यूजिक के लिए लोग वॉकमैन और आईपॉड का इस्तेमाल कर रहे थे। स्टीव जॉब्स को नहीं लगता था कि स्मार्टफोन इतना बड़ा मार्केट बन सकता है। हालांकि, बाद में वो कन्विंस हुए और ढाई साल बाद दुनिया को मिला iPhone। आज एपल के 7 मेजर लाइनअप प्रोडक्ट हैं, जिनमें करीब 50% कमाई सिर्फ iPhone से होती है। मंडे मेगा स्टोरी में iPhone बनने की कहानी… **** ग्राफिक्सः अजीत सिंह

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